शिक्षा पूरी करने के बाद हर किसी का लक्ष्य अच्छे पैकेज वाली नौकरी पाना होता है, लेकिन कुछ लोग ऐसे भी होते हैं जो कुछ और ही सपने देखते हैं। बहुत से लोग सिविल अधिकारी के रूप में सेवा करने के लिए नौकरी छोड़ देते हैं।
दादा के पदचिन्ह पर चल बना सेना में अफसर
उनके लिए देश और नागरिक के लिए सेवाएं सबसे ज्यादा मायने रखती हैं। आज हम आपको एक ऐसे ही युवक के बारे में बताएंगे, जिसने अपनी ऊंची तनख्वाह और आरामदेह नौकरी छोड़कर सेना में भर्ती हो गए। हम बात कर रहे हैं टिहरी गढ़वाल के बुडाकोट निवासी अभिषेक बडोनी की।
जिन्होंने भारतीय सेना में अधिकारी बनने की दिशा में पहला कदम बढ़ाया है। भारतीय सेना में कमीशन अधिकारी के रूप में चयनित होने के बाद अभिषेक बडोनी अब अधिकारी प्रशिक्षण अकादमी, चेन्नई के लिए रवाना होंगे।
उनकी ट्रेनिंग 30 अक्टूबर से शुरू होगी। अभिषेक बडोनी का परिवार चंद्रबदनी गांव में रहता है। पहाड़ के अन्य युवाओं की तरह उनका भी हमेशा से सेना में भर्ती होने का सपना था। उनके दादा भी फौज में थे, इसलिए उन्हें भी सेना को करीब से जानने और समझने का मौका मिला।
पिता ओमप्रकाश बडोनी बताते हैं कि अभिषेक ने बी.टेक किया है, पढ़ाई पूरी करने के बाद उनका चयन टीसीएस में हो गया, लेकिन अभिषेक की नजर में सिर्फ सेना की वर्दी पहनने का सपना था।
यही कारण है कि नौकरी ज्वाइन करने के बाद भी वह सेना में भर्ती होने की तैयारी करता रहा और आखिरकार उसका चयन हो गया। अब अभिषेक ओटीए चेन्नई में ट्रेनिंग लेंगे। उनकी इस उपलब्धि से परिवार में जश्न का माहौल है। यह उसके लिए एक सपने के सच होने की स्थिति थी क्योंकि उसे वह मिलता है जो वह चाहता है। देश के लिए उनका बलिदान दूसरों के लिए प्रेरणा होगा और अधिक लोग सेना में शामिल होंगे।